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भगवान की चौखट पर नहीं है दरवाजा, 35 साल से चल रहा जाप, जानें क्यों मंदिर की दीवार पर बनता है उल्टा स्वास्तिक

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इंदौर. विश्व प्रसिद्ध इंदौर के खजराना गणेश मंदिर की अपनी अनूठी महिमा है. माना जाता है कि यहां आने वाले सभी भक्तों की मनोकमनाएं पूरी होती है. ये एक ऐसा मंदिर है जहां भगवान की चौखट पर पट ही नहीं है. भक्तों के लिए 24 घंटे मंदिर खुला रहता है. हर वक़्त एक विशेष मंत्र श्री गणपति अथर्वशीष का जाप चलता रहता है, जो लगातार 35 साल से जारी है. मुस्लिम आक्रांता औरंगजेब से इस मंदिर को बचाने के लिए अनोखा प्रयास किया गया था. मंदिर के मुख्य पुजारी पंडित अशोक भट्ट बताते है कि यहां भगवान गणेश की स्वयंभू मूर्ति है, जिसे औरंगजेब के हमले से बचाने के लिए एक कुएं में छिपा दिया गया था. औरंगजेब अपनी कट्टर प्रवृत्ति के चलते हिन्दू मंदिरों को नष्ट करने का प्रण ले चुका था, इसी क्रम में जब वो अपनी सेना के साथ मालवा क्षेत्र के इंदौर पहुंचा तब भगवान गणेश की प्रतिमा को उससे बचाने के लिए एक कुएं में छिपा दिया गया.

भगवान गणेश की ये प्रतिमा कई सालों तक कुएं में ही रही. फिर इंदौर में देवी अहिल्याबाई होल्कर का शासन शुरू हुआ. उन्हीं के शासनकाल के दौरान एक बार पंडित मंगल भट्ट को सपना आया और उन्हें कुएं में भगवान गणेश के होने का पता चला. उन्होंने यह बात माता अहिल्याबाई होलकर को बताई. उन्होंने न केवल कुएं से भगवान गणेश की उस दिव्य प्रतिमा को निकलवाया बल्कि उस स्थान पर  1735 में एक भव्य मंदिर का निर्माण भी कराया. उसी मंदिर को आज हम खजराना गणेश मंदिर के नाम से जानते हैं.

हर रोज होता का भगवान का श्रृंगार

कोरोना के बाद से गणेश मंदिर सुबह 5 से रात 12 बजे तक आम श्रृद्धालुओं के लिए खुला रहता है. भगवान गणेश और उनकी पत्नी रिद्धि-सिद्धी का रोजाना अलगअलग तरीके अभिषेक और श्रृंगार किया जाता है. साल में दो बार गणेश चतुर्थी और तिल चतुर्थी पर भगवान का हीरे मोती, जवारात और सोने के करीब ढाई करोड़ के गहनों से श्रृंगार किया जाता है. गणेश मंदिर से जुड़ी एक अनूठी प्रथा भी है यहां भगवान गणेश की पीठ की ओर बनी दीवार पर बाहरी तरफ गोबर या सिंदूर से उल्टा स्वास्तिक चिन्ह बनाया जाता है. ऐसा करके भक्त अपनी इच्छा की पूर्ति का आशीर्वाद मांगते हैं और जब उनकी मन्नत पूरी हो जाती है,तब वे मंदिर में आकर सीधा स्वास्तिक बनाते है. इसके अलावा मंदिर में तीन बार परिक्रमा करके धागा बांधकर इच्छा पूर्ति का आशीर्वाद प्राप्त करने की प्राचीन परंपरा भी है.

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मंदिर में तुलादान की प्रथा भी है. यहां अक्सर नवजात शिशुओं के वजन के बराबर लड्डू भगवान गणेश को चढ़ाया जाता है. देश के सबसे धनी मंदिरों में खजराना गणेश मंदिर का नाम भी सबसे आगे लिया जाता है. यहां भक्तों की ओर से चढ़ावे के कारण ही मंदिर की कुल चल और अचल संपत्ति बेहिसाब है. इसके साथ ही शिरडी के साईं बाबा, तिरुपति के भगवान वेंकटेश्वर मंदिर की तर्ज पर श्रद्धालु जन यहां भी ऑनलाइन भेंट चढ़ावा अर्पण करते हैं. मंदिर की दानपेटियों में से विदेशी मु्द्राएं भी हर साल अच्छी खासी संख्या में निकलती हैं.

समाज सेवा का भी होता है काम

खजराना गणेश मंदिर समिति की ओर से समाज सेवा के काम भी किए जा रहे हैं, जिसमें अस्पताल संचालित हैं जहां फ्री डायलिसिस किया जाता है. मंदिर के पुजारी पंडित अशोक भट्ट के मुताबिक सुबह अन्न क्षेत्र में करीब 1200 लोगों का तो शाम को करीब 500 लोगों का भोजन रोजाना बनाता है. इस भोजन की व्यवस्था मंदिर प्रबंधन समिति और भक्तों द्वारा की जाती है. यहां कई भक्तों को इस योजना में सदस्य बनाया गया है. साथ ही जो अन्न क्षेत्र में लोगों को भोजन करवाना चाहते है वे 2500, 5 हजार और 11 हजार रुपए की राशि देकर भी यहां लोगों को भोजन करा सकते है. इसके अलावा श्रद्धालुओं के ठहरने के लिए भक्त निवास और गौसेवा के लिए एक गौशाला का निर्माण कराया जा रहा है.
मान्यता है कि जब भी किसी पर कोई विपत्ति आती है,तो यहां पुजारियों के द्वारा एक विशेष अनुष्ठान और पूजन किया जाता है, जिससे भगवान गणेश अपने भक्तों का विघ्न हर लेते हैं, इसीलिए भगवान गणेश को विघ्नहर्ता भी कहा जाता है. खजराना गणेश मंदिर के पुजारी  पंडित धर्मेंद्र भट्ट के मुताबिक यह परमार कालीन काफी प्राचीन मंदिर है. इस मंदिर के पट आज तक कभी बंद नहीं हुए. इसके अलावा खजराना गणेश मंदिर परिसर में 33 छोटे-बड़े मंदिर बने हुए है. यहां भगवान राम,शिव,मां दुर्गा,साईं बाबा,हनुमानजी समेत अनेक देवी-देवताओं के मंदिर हैं. मंदिर परिसर में पीपल का एक प्राचीन पेड़ भी है. इस पीपल के पेड़ के बारे में मान्यता है कि ये मनोकामना पूर्ण करने वाला पेड़ है. मंदिर के पुजारी पंडित सत्यपाल भट्ट का कहना है कि यहां भगवान गणेश की स्यवंभू मूर्ति है. यही वजह है कि यहां भगवान हाथ जोड़ने भर से प्रशन्न हो जाते हैं. कोई भी भक्त यहां से खाली हाथ नहीं जाता है. ये अद्भुत मंदिर है जिसमें गणेश का पूरा परिवार है जिसमें रिद्धि सिद्धि शुभ लाभ सभी शामिल हैं.

Tags: Indore news, Mp news

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