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संजय गांधी के चापलूस थे गुलाम नबी आजाद, फिर भी कांग्रेस ने 42 साल उन्हें पदों पर रखा: अशोक गहलोत

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जयपुर. कांग्रेस के वरिष्ठ नेता रहे गुलाम नबी आज़ाद ने शुक्रवार को कांग्रेस की प्राथमिक सदस्यता सहित सभी पदों से इस्तीफा दे दिया. इस्तीफे में उन्होंने राहुल गांधी के नेतृत्व पर कई सवाल खड़े कर दिए. जवाब में राहुल गांधी के करीबी माने जाने वाले और राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा कि गुलाम नबी आज़ाद संजय गांधी के प्रोडेक्ट हैं. उन्होंने बिना किसी का नाम लिए जी-23 ग्रुप पर भी निशाना साधा. गहलोत ने कहा कि गुलाम नबी और उनके जैसे कई नेता संजय गांधी के चापलूस थे लेकिन फिर भी पिछले 42 सालों में कांग्रेस ने हमेशा गुलाम नबी को पदों पर रखा. पार्टी ने उन्हें केन्द्रीय मंत्री, एआईसीसी का महासचिव, जम्मू-कश्मीर का मुख्यमंत्री बनाया. कोई उम्मीद नहीं करता था कि आज़ाद ऐसा पत्र लिख देंगे. आज गुलाम नबी आज़ाद जो कुछ है इंदिरा गांधी, राजीव गांधी, संजय गांधी, पीवी नरसिम्हा राव और सोनिया गांधी की वज़ह से है लेकिन फिर भी जिस प्रकार उन्होंने अपनी भावना व्यक्त की, उसे किसी भी रूप में उचित नहीं कहा जा सकता.

सीएम अशोक गहलोत ने कहा, ‘राजनीति में सबको चांस नहीं मिलता है. चंद लोग ऐसे होते है, जिन्हें राजीनिति में चांस मिलता है. कांग्रेस में 50-60 नेता ही ऐसे हैं जिसमें गुलाम नबी आज़ाद भी शामिल हैं. हाईकमान के सामने कितना चैलेंज होता है, किसे सिलेक्ट करें, बाकि लोग क्या सोचेंगे लेकिन उसके बाद भी गुलाम नबी आज़ाद को हमेशा पार्टी ने मौका दिया. आज गुलाम नबी आज़ाद और हमारे जैसे तमाम नेताओं की पहचान कांग्रेस से है. आज आज़ाद राहुल गांधी के नेतृत्व पर सवाल खड़ा कर रहे हैं लेकिन जो भी नेता आता है, अपने हिसाब से राजनीति करता है. संजय गांधी भी अपने हिसाब से राजनीति करते थे लेकिन देश के कई नौजवान उनके फैसलों को पंसद नहीं करते थे. मैं स्वयं भी उनके खिलाफ था, राजनीति में यह सब चलता रहता है. अब राहुल गांधी आए है, उनकी अपनी सोच है, कैसे मैं पार्टी को आगे लेकर जाऊं.’

साथ ही उन्‍होंने आजाद द्वारा कांग्रेस अध्‍यक्ष सोनिया गांधी के चिकित्सकीय इलाज के लिए अमेरिका में होने के समय अपना इस्‍तीफे का पत्र सार्वजनिक करने को लेकर भी सवाल उठाया और इसे आजाद की असंवदेनशीलता बताया. गहलोत ने कहा, ‘हमारी नेता (सोनिया गांधी) केवल कांग्रेस को बिखरने से बचाने के लिए हमारे दबाव के कारण राजनीति में आईं थी और वह स्वास्थ्य जांच के लिए अमेरिका गई हैं तो आप ऐसे समय पत्र साझा कर रहे हैं. मैं समझता हूं कि यह संवेदनशीलता के खिलाफ है.”

कांग्रेस आलाकमान के ‘चापलूसों’ से घिरने के कथित आरोप पर गहलोत ने कहा, ‘आज जो दूसरों को ‘चापलूस’ कहते हैं, उस वक्‍त गुलाम नबी आजाद से लेकर जो भी नेता संजय गांधी के साथ थे, वे चापलूस ही माने जाते थे लेकिन संजय गांधी ने इसकी परवाह नहीं की. तब जाकर आजाद साहब इतने बड़े नेता बने. अगर संजय गांधी दबाव में आकर उन्हें हटा देते, जैसी उम्‍मीद वह आज कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी से कर रहे हैं तो आज इस देश में गुलाम नबी आजाद या अन्य नेता जो भी हों, उनका नाम कोई भी नहीं जानता.’

Tags: Ashok gehlot, Gulam Nabi Azad, Rajasthan news

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