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मनमोहन सेजू/बाड़मेर. राजस्थान के सरहदी जिले बाड़मेर में मानसून की अच्छी बारिश से जहां किसान खुश हैं तो वही शहर में मानसून की बारिश से सड़कें पानी मे बह गई हैं. ऐसे में अब यहां की सड़कें आमजन को दु:ख दे रही हैं. बाड़मेर जिला मुख्यालय की बात करें तो यहां सड़कों की हालत ऐसी है कि बड़े बड़े वाहन भी हांफ जाते हैं. दुपहिया वाहनों और राहगीरों के लिए तो सड़कों पर चलना दुभर हो गया है.
ऐसा नही है कि जिम्मेदार विभाग, प्रशासन या जनप्रतिनिधियों को इसकी जानकारी नहीं है. क्योंकि राजस्थान गौसेवा आयोग अध्यक्ष एव बाड़मेर विधायक मेवाराम जैन के कार्यालय के आगे भी सड़क बह गई, जिससे सड़क पर बड़े-बड़े गड्ढे हो गए हैं. इतना ही नहीं विभाग की ओर से सड़क पर पत्थर रखकर सड़क मार्ग को डायवर्ट कर मरम्मत के नाम पर खानापूर्ति कर दी गई है. जिम्मेदारों की अनदेखी के कारण शहर की सड़कों पर चलने वाले वाहन चालक जान हथेली पर लेकर चल रहे हैं.
ध्यान नहीं दे रहे अधिकारी
बाड़मेर के सार्वजनिक निर्माण विभाग के अधिकारी सड़क पर गड्ढों की ओर ध्यान नहीं दे रहे हैं. वाहनों को भी भारी नुकसान हो रहा है. तिलक बस स्टेंड, सिणधरी सर्किल, रॉय कॉलोनी, जैसलमेर रोड सहित कई चौराहों पर तो सड़क का नामोनिशान तक नहीं बचा है. वाहन चालक सुरेश कुमार के मुताबिक दिन के समय भी सड़क पर चलना मुश्किल हो गया है. 3-4 फुट गहरे गड्ढे कभी भी किसी की जान ले सकता है. विभाग को मरम्मत करवाकर आमजन को राहत देनी चाहिए.
जिम्मेदारों का ध्यान नहीं
स्थानीय लोगों का कहना है कि तेज बारिश में सड़कों का टूटना लाजमी है, लेकिन एक सप्ताह बीत जाने के बावजूद गड्ढो में मिट्टी-कंक्रीट डालकर राहत दी जा सकती है, लेकिन अभी तक इस और कोई ध्यान नहीं दिया जा रहा है. यहां का विभाग न तो दर्द समझ रहा है और न ही जनप्रतिनिधि इस ओर ध्यान दे रहे है. ऐसे में शहरवासियों व वाहन चालकों को परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है.
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FIRST PUBLISHED : August 24, 2022, 14:40 IST
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